नई दिल्ली.
पंजाब नेशनल बैंक घोटाले के आरोपी मेहुल चोकसी प्रकरण में एंटीगुआ के प्रधानमंत्री गेस्टन ब्राउन ने सनसनीखेज दावा किया है। उन्होंने कहा कि चोकसी का वकील विपक्षी दल से जुड़ा है, जो राजनीतिक निहित स्वार्थों के साथ काम कर रहा है। वे चाहते हैं कि मेहुल चोकसी को डोमिनिका से भारत नहीं भेजा जाना चाहिए, बल्कि एंटीगुआ वापस भेज दिया जाना चाहिए, जहां वह नागरिकता के संवैधानिक संरक्षण के पीछे छिपा रह सकता है। मेहुल चोकसी को भारत लाने का रास्ता साफ होगा या नहीं, आज कोर्ट के फैसले से यह स्पष्ट हो जाएगा।
प्रधानमंत्री गेस्टन ने बताया कि चोकसी ने यूपीपी के एक प्रसिद्ध सदस्य को अपना वकील बनाया है। चोकसी के वकील जस्टिन साइमन यूपीपी के कार्यकाल में अटॉर्नी जनरल रह चुके हैं। हमारे पास यह विश्वसनीय जानकारी है कि उन्होंने कैंपेन के फंडिंग के लिए चोकसी को सुरक्षा देने का वादा किया था। यही वजह है कि वे इतने उतावले हो रहे हैं कि मेहुल चोकसी को डोमिनिका से भारत नहीं भेजा जाना चाहिए, बल्कि एंटीगुआ वापस भेज दिया जाना चाहिए, जहां वह नागरिकता के संवैधानिक संरक्षण के पीछे छिपा रह सकता है।
बता दें कि 14 अक्टूबर 2019 को एंटीगुआ सरकार ने चोकसी की नागरिकता रद्द कर दी। इस बीच चोकसी के वकील जस्टिन साइमन ने कहा कि उन्हें अपने मुवक्किल (चोकसी) और यूपीपी के बीच किसी संबंध के बारे में जानकारी नहीं है।
मेहुल चोकसी के प्रत्यर्पण केस की आज डोमिनिका कोर्ट में सुनवाई है। इससे पहले डोमिनिका की एक अदालत ने भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी को अगले आदेश तक कैरिबियाई द्वीपीय देश से कहीं और भेजने पर रोक लगा दी थी।