दिल्लीः गर्मियों का मौसम शुरू हो गया है। ऐसे में लोग भीषण गर्मी से बचने के लिए उपाय करने लगे हैं। गर्मियों से निजात पाने के लिए AC के मुकाबले कूलर काफी सस्ता विकल्प है। कूलर का सही से इस्तेमाल किया जाए, तो कूलर कंबल ओढ़ने को मजबूर कर सकता है। ऐसे कुछ टिप्स हैं जिनका आप ध्यान रखेंगे, तो आपके कूलर की परफॉर्मेंस कई गुना बढ़ जाएगी। चलिए देर न करते हुए टिप्स पर शेयर करते हैं।

पसीने से तरबतर करने वाला मौसम आ चुका है। इस गर्मी से निपटने का सबसे बढ़िया और सस्ता इलाज है कूलर। अगर कूलर को सही तरीके से इस्तेमाल किया जाए, तो यह बहुत कम बिजली खर्च करते हुए आपके कमरे को AC से ज्यादा ठंडा कर सकता है। वैसे भी जून तक की गर्मी के लिए कूलर सबसे अच्छे रहते हैं। आज हम आपके लिए कुछ ऐसे टिप्स लेकर आए हैं जिन्हें फॉलो करके आप अपने कूलर की पूरी ताकत का मजा ले पाएंगे। यह कुछ ऐसी बेसिक जानकारियां हैं जो कूलर इस्तेमाल करने वाले हर शख्स को मालूम होनी चाहिए। तो फिर देर किस बात की? मुद्दे पर आते हैं।

सीजन में पहली बार कूलर ऑन करने जा रहे हैं, तो कूलर की सफाई के साथ-साथ पर्दे (घांस) जरूर बदल दें। दरअरल सर्दियों में बंद पड़े कूलर के पैड्स में काफी मिट्टी जमा हो जाती है। ऐसे में कूलर के पैड्स बदलना एक अच्छा ऑप्शन रहता है। इसके अलावा जांच लें कि कूलर का पंप अच्छे से काम कर रहा है या नहीं। दरअसर कूलर के पंप में भी कई बार कचरा फंस जाता है जिससे उसके फ्लो में रुकावट आती है। इससे कूलर के पैड ठीक से गीले नहीं हो पाते और कमरा ठीक से ठंडा नहीं हो पाता। कूलर के पर्दों की अच्छे से जांच कर लें कि घांस के गीले होने में किसी तरह की रुकावट न आ रही हो।

आजकल मार्केट में कूलर के लिए दो तरह की घांस मिलती है। एक तो सामान्य घांस और दूसरा हनीकॉम्ब पर्दे। यह घांस के मुकाबल ठोस होते हैं और इनकी लाइफ सामान्य घांस से ज्यादा बेहतर होती है। कूलर विक्रेताओं से बातचीत में पता चला कि अगर आप सामान्य घांस की जगह हनीकॉम्ब पैड इस्तेमाल करते हैं, तो कूलर लगभग 2-3 डिग्री तक ज्यादा ठंडा करता है। दरअसर हनीकॉम्ब पैड को इस तरह से बनाया जाता है कि उस पर गिरने वाले पानी से पूरा पर्दा गीला होता है। वहीं घांस अक्सर वहीं से गीली होती है जहां पानी गिरता है। बता दें कि सामान्य घांस की तुलना में हनीकॉन्ब पर्दा महंगा भी मिलता है। ऐसे में यह आप पर निर्भर करता है कि आप किस पर्दे का इस्तेमाल करना चाहते हैं।

वह कूलर सबसे ज्यादा कामयाब होते हैं जो वेंटिलेशन वाली जगह में रखे जाते हैं। दरअसल अगर एक कूलर को घर से बाहर जैसे कि खिड़की पर रख कर इस्तेमाल किया जाता है, तो बाहर से हवा खींच कर वह घर को और ज्यादा ठंडा करता है। वहीं अगर कूलर का इस्तेमाल कमरे के अंदर रख कर किया जाता है, तो ऐसे में वह कमरे की हवा को ही खींचता है। जिससे एक सीमा के बाद ठंडक कम हो जाती है और उमस बढ़ने लगती है।

कूलर को चलाते वक्त उसके पानी के लेवल का ध्यान जरूर रखें। कई बार ऐसा होता है कि कूलर का पानी काफी कम हो जाता है। ऐसे में पंप के खराब होने का डर तो होता ही है लेकिन जब आप दोबारा कूलर में पानी भरते हैं, तो उसे ठंडा करने में कूलर को काफी समय लगता है। ऐसे में अगर आप कूलर का पानी ज्यादा कम होने से पहले ही उसका लेवल मेंटेन करते रहेंगे, तो पानी का तापमान भी मेंटेन रहेगा। अगर आप इन टिप्स को फॉलो करेंगे, तो आपका कूलर AC से ज्यादा ठंडक करेगा।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here