मुंबईः दक्षिण भारत की दिग्गज गायिका वाणी जयराम का शनिवार को चेन्नई में निधन हो गया। वह 77 साल की थी। उन्होंने पार्श्वगायिका के तौर पर हाल ही में 50 साल पूरे किए थे। वाणी जयराम ने 18 भारतीय भाषाओं में 10 हजार से ज्यादा गीत गाए थे। उन्हें 03 बार बेस्ट प्लेबैक सिंगर का नेशनल फिल्म अवॉर्ड मिला था तथा हाल ही में देश के तीसरे सर्वोच्च नागरिक सम्मान पद्म भूषण से उन्होंने सम्मानित किया गया था।

पुलिस के मुताबिक, घर पर उनकी लाश मिली है और ये भी बताया जा रहा है कि उनके माथे पर चोट के निशान थे। फिलहाल, पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। आपको बता दें कि वाणी ने हाल ही में इंडस्ट्री में बतौर सिंगर अपने 50 साल पूरे किए थे। उन्होंने 18 भारतीय भाषाओं में 10 हजार से ज्यादा गाने गाए थे। उनका गाया हुआ ‘हमको मन की शक्ति देना’ आज भी लोगों की जुबां पर है। उन्हें पद्म भूषण से लेकर नेशनल अवॉर्ड तक से सम्मानित किया गया था। उनकी मौत की खबर सुनकर फिल्म जगत में शोक की लहर है।

खबरों की मानें तो वाणी के सिर में काफी समय पहले चोट लग गई थी, जिसकी वजह से वो बीमार थीं। 04 फरवरी की सुबह वाणी को उनके घर पर मृत पाया गया। आपको बता दें कि कुछ समय पहले जब भारत सरकार ने पद्म भूषण 2023 अवार्ड की घोषणा की थी, तो लिस्ट में वाणी का नाम शामिल था।

कौन थीं वाणी जयरामः वाणी जयराम दक्षिण भारत की मशहूर प्लेबैक सिंगर्स में से एक थीं। उन्होंने कई बड़े कंपोजर्स के साथ इंडस्ट्री को बेहतरीन गाने दिए हैं। वाणी ने अपने करियर में तमिल, तेलुगू, कन्नड़, मलयालम, हिंदी, उर्दू, मराठी, बंगाली, भोजपुरी, तुलू और उड़िया भाषाओं में गाने गए हैं।

संगीत क्षेत्र में उम्दा प्रदर्शन के लिए वाणी को 3 बार राष्ट्रीय पुरस्कार से भी सम्मानित किया जा चुका है। इसके अलावा रीजनल भाषाओं में गाने गाने के लिए उन्हें कई राज्य पुरस्कारों से भी नवाजा जा चुका है।

आपको बता दें कि कुछ समय पहले ही वाणी ने अपने करियर के 50 साल पूरे किए थे। उन्होंने अपने करियर में 10,000 से ज्यादा गाने दिए हैं। इतना ही नहीं, वाणी ने एमएस इलैयाराजा, आरडी बर्मन, केवी महादेवन, ओ.पी नैय्यर और मदन मोहन जैसे दिग्गज कंपोजर के साथ काम कर चुकी हैं।

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