संवाददाता

प्रखर प्रहरी

पटनाः कोरोना के मद्देनजर लागू लॉकडाउन के बीच बीजेपी नेता एवं केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने सात मई को बिहार में वर्चुअल रैली को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि बिहार में नीतीश कुमार के नेतृत्व में दो-तिहाई बहुमत से सरकार बनेगी। अब लालटेन से एलईडी का समय आ गया है, लेकिन ये चुनावी सभा नहीं है, हमारा उद्देश्य देश के लोगों को जोड़ना है और कोरोना के खिलाफ एक जुटकर होकर लड़ना है।

बीजेपी ने बिहार में पहली वर्जु्अल रैली को बिहार जनसंवाद नाम दिया था। इस दौरान केंद्रीय गृहमंत्री ने कहा कि जनता कर्फ्यू भारत के लोकतांत्रिक इतिहास के अंदर स्वर्णिम अक्षरों में लिखा जाएगा कि देश के एक नेता की अपील पर कोई पुलिस बल प्रयोग किए बगैर पूरे देश ने घर के अंदर रहकर अपने नेता की अपील का सम्मान किया। चाहे उन्होंने थाली और घंटी बजाने को कहा, चाहे दीया जलाने को कहा, चाहे सेना के जवानों द्वारा आकाश से कोरोना वॉरियर्स पर फूल बरसाने की बात हो, ये सब पीएम की अपील ही थी। कुछ लोगों ने इसे राजनीतिक प्रोपेगेंडा कहा, मगर जो कह रहे हैं उनको ये मालूम नहीं है कि ये राजनीतिक प्रोपेगेंडा नहीं है बल्कि ये देश को एक बनाने की मुहिम है।

उन्होंने मोदी सरकार ने छह साल के कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि सरकार ने करोड़ों गरीबों के जीवन में प्रकाश लाने का एक प्रयास किया है और इसका सबसे अधिक फायदा किसी को हुआ है, तो वह मेरे पूर्वी भारत के लोगों को हुआ है।  आवास, बिजली, बैंक खाते, स्वास्थ्य सेवाएं, गैस सिलेंडर, शौचालय, ये सब तो मोदी सरकार 2014-2019 तक के कार्यकाल में ही दे चुकी थी।  2019 में मोदी सरकार ने जल शक्ति मंत्रालय गठित करके देश के 25 करोड़ लोगों के घर में नल से शुद्ध जल पहुंचाने की योजना शुरू की।

उन्होंने विपक्ष पर हमला बोलते हुए कहा कि राहुल गांधी हमेशा कहते है कि किसानों का कर्ज माफ करो। 10 साल उनकी सरकार रही थी, तो वो दावा करते हैं कि करीब तीन करोड़ किसानों का 60 हजार करोड़ रुपये का कर्ज माफ किया।  उन्होंने कहा कि पीएम मोदी ने किसान सम्मान निधि के माध्यम से 9.5 करोड़ किसानों के बैंक खाते में 72,000 करोड़ रुपये हर साल डालने की व्यवस्था की। आसियान देश के प्रस्तावित मुक्त व्यापार समझौते आरसीईपी यानी रीजनल कॉम्प्रिहेंसिव इकोनॉमिक पार्टरशिप की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि इसकी चर्चा कांग्रेस शुरू करके गई थी। इसकी वजह से छोटे किसान, मछुवारे, छोटे कारोबारी, छोटे उद्योग ये सब तबाह हो जाते, लेकिन पीएम मोदी ने छोटे किसानों, छोटे व्यापारियों के हित में दृढ़ता से फैसला लेते हुए आरसीईपी समझौते से भारत को अलग कर लिया।

केंद्रीय गृहमंत्री ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि आजादी के बाद जब कांग्रेस पार्टी की नेता इंदिरा गांधी ने आपातकाल लगाकर लोकतंत्र का गला घोटने का प्रयास किया तब बिहार की जनता ने ही जेपी आंदोलन करके फिर से एक बार लोकतंत्र को स्थापित करने का काम किया। उन्होंने कहा कि 2014 में पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा था कि भारत का विकास जो अब तक चला, उसमें पश्चिमी भारत और पूर्वी भारत के विकास में बहुत बड़ा अंतर है। आजादी के समय जीडीपी यानी सकल घरेलू उत्पाद में पूर्वी भारत का योगदान बहुत ज्यादा होता था, परंतु आजादी के बाद से जिस प्रकार से सरकारें चली उन्होंने पूर्वी भारत के विकास से मुंह मोड़ लिया और परिणाम ये आया कि पूर्वी भारत पिछड़ता गया। उन्होंने कहा कि बीजेपी की सरकार गरीबों की सरकार है। बिहार की धरती ने ही पहली बार दुनिया को लोकतंत्र का अनुभव कराया, जहां महान मगध साम्राज्य की नींव डाली गई।  इस भूमि ने हमेशा भारत का नेतृत्व किया है। इस रैली का चुनाव से कोई संबंध नहीं है। बीजेपी लोकतंत्र में विश्वास रखती है।

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