बिजनेस डेस्कः विस्तार ब्रांड का वजूद समाप्त हो सकता है। टाटा ग्रुप एअर इंडिया के तहत अपने चार एयरलाइन ब्रांड को मर्ज करने और विस्तारा ब्रांड को खत्म करने पर विचार कर रहा है। टाटा ग्रुप यह कवायद लड़खड़ाते एविएशन एम्पायर को फिर से खड़ा करने के प्रयासों के तहत कर रहा है।

आपको बता दें कि विस्तारा एयरलाइंस, टाटा समूह और सिंगापुर एयरलाइंस (SIA) का जॉइंट वेंचर है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक कंपनी जॉइंट यूनिट में हिस्सेदारी के आकार का मूल्यांकन कर रही है। सिंगापुर एयरलाइंस ने एक बयान में कहा है कि SIA और टाटा ग्रुप के बीच बातचीत चल रही है। SIA और टाटा मौजूदा साझेदारी को गहरा करना चाहते हैं। इसके लिए विस्तारा और एयर इंडिया का एकीकरण भी किया जा सकता है।

आपको बता दें कि एअर इंडिया का मालिकाना हक टाटा ग्रुप के पास है और ग्रुप इस कंपनी को दोबारा खड़ा करने की तैयारी कर रहा है। इस कड़ी में फुल सर्विस कैरियर 300 से अधिक नैरो-बॉडी जेट के लिए ऑर्डर देने पर विचार कर रही है। यह लेनदेन कमर्शियल एविएशन हिस्ट्री के अब तक के सबसे बड़े ऑर्डर में से एक होगा। बोइंग और एयरबस पहले से इस ऑर्डर का बड़ा हिस्सा लेने के प्रयास में हैं।

प्राप्त जानकारी के मुताबिक एअर इंडिया एक फंडिंग राउंड में कम से कम 100 करोड़ डॉलर (करीब 8,170 करोड़ रुपए ) जुटाने के लिए बातचीत कर रही है। इस फंडिंग राउंड में एयरलाइन की वैल्यू 500 करोड़ डॉलर (करीब 40,850 करोड़ रुपए) आंकी जा सकती है। एयरलाइन की दिसंबर से 25 एयरबस एसई और लीज कंपनियों से पांच बोइंग विमान को जोड़ने की योजना है।

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