दिल्लीः अगर आप कुत्ता पालने के शौकीन हैं, तो इस खबर को जरूर पढ़िए। यह खबर इसलिए जरूर है क्योंकि दो दिन पहले उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एकत ऐसी घटना घटित हुई है, तो दिल को दहला देने वाली है। दरअसल उत्तर प्रदेश के लखनऊ में 80 साल की एक महिला अपने पेट डॉग पिटबुल को छत पर टहला रही थी। अचानक उसके गले में बंधी चेन खुल गई और पिटबुल ने महिला पर अटैक कर दिया और ऐसा नोंच खाया कि शरीर से मांस अलग हो गया। इसके बाद महिला को अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया।

यह खबर दुखद तो है ही, साथ ही हैरान करने वाली भी है क्योंकि जिस डॉग को लोग अपनी सुरक्षा के लिए पालते हैं, वह उनके लिए ही काल बन जाए तो, इससे बड़ी चिंता की बात क्या होगी।

भारत में डॉग प्रेमियों की कमी नहीं है। कई लोग सेफ्टी के लिए तो कई लोग शौक से डॉग पालते हैं। ऐसे लोगों को अलर्ट रहने के साथ-साथ यह जानना भी जरूरी है कि वे अपने पेट डॉग को अच्छी तरह से कैसे रखें? कैसे और कहां ट्रेनिंग दें, किन डॉग्स को पालें और किसे नहीं?

पिटबुल डॉगः आपको बता दें कि पिटबुल एक क्रॉस ब्रीड डॉग है, जिसकी वजह से उसका टेंपरामेंट यानी स्वभाव खराब हो जाता है। इसे गुस्सा बहुत आता है। यह बेहद जिद्दी होता है। इसी वजह से कई बार जान के लिए भी खतरा बन जाता है।

लैब्राडोरः लैब्राडोर डॉग की सबसे फ्रेंडली ब्रीड है। ये आमतौर पर आक्रामक नहीं होते हैं, लेकिन कुछ लोगों के लैब्राडोर कभी-कभी आक्रामक हो जाते हैं। इसके पीछे कारण हैं। तो चलिए आपको बताते हैं, वे कारण, जिसके चलते यह आक्रामक हो जाता है…

  • लैब्राडोर को चोट लगी है और उसे दर्द हो रहा है, तो वह आक्रामक हो सकता है।
  • अंधेरे कमरे में बांध कर रख दिया गया है तो वो आक्रामक हो सकता है।

जर्मन शेफर्ड- यह लैब्राडोर के बाद सबसे ज्यादा पसंद किए जाने वाला डॉग है। यह समझदार, बुद्धिमान और बहुत वफादार होता है, लेकिन इसका नेचर आक्रामक होता है।

  • रोजाना घुमाने ले जाएं ताकि ये दूसरे लोगों से मिल सके। क्योंकि ये अजनबियों को देखकर जल्दी आक्रामक हो जाता है। इसलिए इसका दूसरों से मिलना-जुलना काफी जरूरी है।
  • जब भी आप इन्हें कुछ खाने को दें और यह खाने के लिए जंप करें या झपटें, तो आपको तुरंत हाथ पीछे करना है और उसे डांटना हैं। इस आदत से ये आपको नुकसान पहुंचा सकते हैं।
  • डॉग जब खुश होते हैं तो यह आपके हाथों तथा पैरो को अपने मुंह से काटने लगते हैं, जिसे प्ले बाइटिंग कहते हैं। जब भी आपका डॉग ऐसा करे तो आप इसके गले पर बंधे पट्टे से कंट्रोल करें और कमांड दें कि ऐसा मत करो।

डॉबरमैन- ये काफी एक्टिव, बुद्धिमान, वफादार और सर्तक रहने वाली ब्रीड है, लेकिन ये भी आक्रामक होते हैं।

  • अगर आप समझदार डॉबरमैन की चाह रखते हैं तो इन्हें ट्रेनिंग देने का एक समय जरूर तय कर लें। सुबह, दोपहर या शाम, इससे ये डिसिप्लिन में रहते हैं।
  • अगर आपने अपनी सुविधानुसार इनके ट्रेनिंग के टाइम में कोई हेर-फेर किया तो ये आक्रामक हो सकते हैं।
  • एक्सपर्ट कहते हैं कि हर वक्त डांटने या फिर जरूरत से ज्यादा डिसिप्लीन में रखने से भी ये गुस्सैल बन सकते हैं।

पोमेरेनियन- यह भी फ्रेंडली होते हैं, लेकिन कुछ सिचुएशन में आक्रामक हो सकते हैं और काटने की कोशिश भी कर सकते हैं। जैसे-

  • किसी चीज से डर जाना।
  • तेज आवाज से घबराहट के कारण।
  • अजनबी पर भौंकना।
  • तबीयत खराब हो या चोट लगी हो।


इन बातों का करें पालन-

  • कुछ पोमेरेनियन खेलते वक्त पंजे मारते हैं या आक्रामक होते हैं। ऐसी सिचुएशन में खेलना बंद कर दें। ताकि उसे एहसास हो कि उसका बिहेवियर ठीक नहीं है।
  • जब वो आक्रामक हो तो उससे कुछ देर के लिए बात करना बंद कर दें और शांत हो जाएं। वो थोड़ी देर बाद खुद ही शांत हो जाएगा।
  • उसे जिद्दी न बनने दें। बाहर ले जाएं, लेकिन बारिश हो या ज्यादा धूप हो तो उसे घर के अंदर खेलने की आदत लगवाएं। इससे वो किसी चीज के लिए आक्रामक तरीका नहीं अपनाएगा।

बरतें ये सावधानियां तो जरूर रखें-

  • उसके सोने से लेकर खाने तक जगह को साफ-सुथरा रखें।
  • हमेशा फ्रेश पानी ही पिलाएं, इससे वो जल्दी बीमार नहीं पड़ेगा।
  • समय-समय पर वेटनरी डॉक्टर से अपने डॉग की जांच करवाते रहें।
  • हाइट और ब्रीड के हिसाब से आपके डॉग का वजन होना चाहिए।
  • वो आलसी न बने, इसके लिए उसे एक्सरसाइज जरूर करवाएं।
  • उससे बातचीत करें, इससे आपके और डॉग के बीच अच्छा रिलेशन बनेगा।
  • हमेशा उनके बाल और नाखूनों की कटिंग करवाते रहें।

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