दिल्लीः कोरोना का नया वैरिएंट ओमिक्रॉन भारत में भी पहुंच गया है। देश में इसके पहले दो मरीज कर्नाटक में मिले हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने इसकी पुष्टि की है। इनमें एक 66 साल का विदेशी नागरिक है, जो पिछले दिनों साउथ अफ्रीका गया था, जबकि दूसरा बेंगलुरु के बोमनहल्ली का 46 साल का हेल्थ वर्कर है। दोनों की पॉजिटिव रिपोर्ट आने के बाद सैंपल जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेजे गए थे। इसकी रिपोर्ट में ओमिक्रॉन वैरिएंट की पुष्टि हुई है। इनके संपर्क में आने वाले एक डॉक्टर समेत 6 अन्य लोगों के सैंपल भी पॉजिटिव पाए जाने पर जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेजा गया है।
बताया जा रहा है कि जिस विदेशी नागरिक की रिपोर्ट में ओमिक्रॉन वैरिएंट पाया गया है, बेंगलुरु म्यूनिसिपल कॉरपोरेशन की तरफ से इस नागरिक की ट्रैवल रिपोर्ट जारी की गई है। रिपोर्ट में बताया गया है कि वैक्सीन की दोनों डोज ले चुका विदेशी नागरिक 20 नवंबर को निगेटिव रिपोर्ट के साथ बेंगलुरु पहुंचा था। उसके ‘एट-रिस्क कंट्रीज’ से आने के कारण एयरपोर्ट पर ही RT-PCR टेस्ट किया गया।
इसके बाद वह होटल चला गया। उसी दिन आई रिपोर्ट में वह पॉजिटिव पाया गया। सरकारी डॉक्टर ने होटल जाकर उसकी जांच की। जांच में उसके अंदर कोई लक्षण नहीं मिले तो उसे सेल्फ आइसोलेट रहने का निर्देश दिया गया। 22 नवंबर को उसका सैंपल जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेज दिया गया।
रिपोर्ट के मुताबिक, उसके संपर्क में आने वाले सभी 24 लोगों की टेस्ट रिपोर्ट निगेटिव आई। इसके बाद सेकेंडरी कांटेक्ट्स के तौर पर उन 24 लोगों के संपर्क में आए 240 लोगों का टेस्ट किया गया। इन सभी की रिपोर्ट भी निगेटिव मिली है।
विदेशी नागरिक ने 23 नवंबर को एक प्राइवेट लैब से कोरोना टेस्ट कराया, जिसमें रिपोर्ट निगेटिव आई। इसके बाद 27 नवंबर की रात को उसने 12 बजकर 12 मिनट पर होटल से टैक्सी ली और एयरपोर्ट पहुंचकर वह UAE के दुबई शहर के लिए रवाना हो गया।
इसके अलावा दूसरे ओमिक्रॉन वैरिएंट से संक्रमित मिले भारतीय हेल्थ वर्कर के बारे में बताया गया है कि उसे वैक्सीन की दोनों डोज लग चुकी हैं और उसकी कोई ट्रैवल हिस्ट्री नहीं है। उसके संपर्क में आए सभी लोगों की पहचान कर ली गई है और उनकी निगरानी की जा रही है।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक बेंगलुरु म्यूनिसिपल कॉरपोरेशन के कमिश्नर गौरव गुप्ता के हवाले से कहा गया है कि ओमिक्रॉन से संक्रमित मिले हेल्थ वर्कर के संपर्क में आने वाले 13 प्राइमरी और 205 सेकेंडरी कांटेक्ट्स की रिपोर्ट कराई गई थी। इनमें 3 प्राइमरी और 2 सेकेंडरी कांटेक्ट्स पॉजिटिव मिले हैं, जिनके सैंपल जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेज दिए गए हैं।
कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. के. सुधाकर ने भी संपर्क में आने वाले 6 लोग के पॉजिटिव पाए जाने की पुष्टि की है। डॉ. सुधाकर ने कहा कि इनमें ओमिक्रॉन संक्रमित हेल्थ वर्कर का इलाज कर रहे डॉक्टर भी शामिल हैं। इन सभी को सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जहां उनकी हालत सामान्य है। इन सभी को कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज लग चुकी थी। सभी के सैंपल की जीनोम सीक्वेंसिंग कराई जा रही है।
केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री मनसुख मांडविया ने इस संबंध में कर्नाटक के मुख्यमंत्री बासवराज बोम्मई से बात की है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक इस दौरान दोनों नेताओं ने ओमिक्रॉन के खतरे को देखते हुए राज्य के सभी हेल्थ वर्कर्स को बूस्टर डोज देने को लेकर बात की गई। वहीं कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने कहा है कि बूस्टर डोज को लेकर वे प्रशासनिक अधिकारियों से बात करेंगे।
वहीं आईईसएमआर (ICMR) यानी भारतीय चिकित्सा अनुशंधान परिषद के डायरेक्टर जनरल बलराम भार्गव ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग की बनाई 37 लैब में संक्रमितों की जीनोम सीक्वेंसिंग की जा रही है। इनमें कर्नाटक के दो सैंपल में ओमिक्रॉन की पुष्टि हुई है। हमें घबराने की जरूरत नहीं है, लेकिन जागरूकता बेहद जरूरी है।
सरकार की ओर से कही गई अहम बातेः
- कोरोना के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन के तेजी से फैलने की आशंका है। यह डेल्टा से 5 गुना तक ज्यादा संक्रामक हो सकता है।
- अब तक ओमिक्रॉन के 29 देशों में 373 केस मिल चुके हैं। इससे संक्रमित सभी मामलों में अब तक हल्के लक्षण पाए गए हैं।
- देश और दुनिया भर में अब तक ऐसे सभी मामलों में कोई गंभीर लक्षण नोट नहीं किए गए हैं। WHO इस पर स्टडी कर रहा है।
- अभी लॉकडाउन लगाने की ज़रूरत नहीं है। हम इस नई चुनौती का मुकाबला करेंगे। हमें डरना नहीं है। लोगों की जिम्मेदारी हैं कि वे मास्क पहने।
- पूरी दुनिया में अभी ओमिक्रोन की खासियत और असर के बारे में समझा जा रहा है। इसके बारे में बहुत से तथ्य सामने आने वाले हैं।
- वैक्सीन के बूस्टर डोज के लिए स्टडी की जा रहा है। जैसे-जैसे जो स्थिति सामने आएगी, उसके आधार पर आगे फैसले लिए जाएंगे।
कोरोना वायर से ओमिक्रॉन वैरिएंट के बारे में पहली बार 25 नवंबर को दक्षिण अफ्रीका ने डब्ल्यूएओ (WHO) यानी विश्व स्वास्थ्य संगठन को बताया था। इससे संक्रमित व्यक्ति का 9 नवंबर को सैंपल लिया गया था। डब्ल्यूएओ ने 26 नवंबर को नए वैरिएंट B.1.1.529 को ओमिक्रॉन नाम दिया। इसे वैरिएंट ऑफ कंसर्न कैटेगरी में रखा गया है।