संवाददाता
प्रखर प्रहरी
दिल्लीः वरिष्ठ कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल से पार्टी से नाराजगी दूर होने का नाम नहीं ले रही है। अब उन्होंने यहां तक कह दिया है कि पार्टी देश में देश में असरदार विपक्षी पार्टी नहीं रह गई है। लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत जैसे दिग्गज नेताओं के हमलों के बीच पूर्व केंद्रीय मंत्री सिब्बल ने फिर से पार्टी के शीर्ष नेतृत्व पर हमला बोला है। आपको बता दें सिब्बल पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी चिट्ठी लिखने वाले 23 नेताओं में से एक हैं। सिब्बल ने एक न्यूज चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा कि कांग्रेस अब देश में असरदार विपक्षी पार्टी नहीं रह गई है।
सिब्बल ने कहा है कि पार्टी अपने संगठन को मजबूत करने का कोई प्रयास नहीं कर रही है। उन्होंने एक बार फिर से एक साल से भी ज्यादा वक्त से पार्टी अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं हो पाने का मुद्दा उठाया और पार्टी के कामकाज के तरीकों पर गहरी नाराजगी जाहिर की। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी ने डेढ़ साल पहले पार्टी का अध्यक्ष पद छोड़ा था। उन्होंने सवाल किया, “कोई राजनीतिक दल डेढ़ साल तक बिना लीडर के कैसे काम कर सकता है… पार्टी कार्यकर्ताओं को पता ही नहीं है कि उन्हें जाना कहां है।“
सिब्बल ने कहा कि यूपी जैसे राज्यों में कांग्रेस का कोई प्रभाव नहीं बचा है। इसके अलावा गुजरात और मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में जहां कांग्रेस का सीधा मुकाबला बीजेपी से था, वहां हालिया चुनावों में नतीजे बेहद खराब आए। उन्होंने कहा, “हम गुजरात की सभी आठ सीटें हार गए। 65 फीसदी वोट बीजेपी के खाते में चले गए जबकि ये सीटें पाला बदलने वाले कांग्रेसियों ने खाली की थीं। मध्य प्रदेश में सभी 28 सीटें कांग्रेस विधायकों के पाला बदलने के कारण ही खाली हुई थीं, लेकिन पार्टी सिर्फ आठ सीटें जीत पाई।“ उन्होंने कहा कि देश में जहां भी हमारा सीधे बीजेपी से दो-दो हाथ होता है, हम वहां असरदार विकल्प साबित नहीं हो पा रहे हैं। कुछ-न-कुछ तो जरूर गलत हो रहा है। हमें इसे लेकर कुछ करना ही होगा।
उच्चतम न्यायालय के वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि उन्होंने जुलाई महीने में संसदीय दल की मीटिंग में यह मुद्दा उठाया था। उसके बाद 23 नेताओं ने अगस्त में कांग्रेस अध्यक्ष को चिट्ठी लिखी, लेकिन कोई चर्चा नहीं हुई। हमसे किसी ने संपर्क नहीं किया।
आपको बता दें कि पिछले दिनों सिब्बल ने बिहार में विधानसभा चुनाव और कुछ राज्यों में उपचुनावों में कांग्रेस के बेहद खराब प्रदर्शन का मुद्दा उठाया था, तो राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी और दिल्ली कांग्रेस प्रमुख अनिल चौधरी हमलावर हो गए। गहलोत ने ट्वीट कर कहा, “कपिल सिब्बल को हमारे आंतरिक मसलों की मीडिया में चर्चा की कोई जरूरत नहीं थी। इसने देशभर में पार्टी कार्यकर्ताओं की भावनाओं को आहत किया है।“