दिल्लीः दिल्ली-NCR यानी राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में आज तड़के भूकंप के तेज भटके महसूस किये गये। भारत सरकार के पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के आने वाली संस्था- नेशनल सेंटर फॉर सिस्मोलॉजी (NCS) के मुताबिक 5.36 बजे महसूस किये गये भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 4.0 मापी गई।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कहा कि दिल्ली और आसपास के इलाकों में भूकंप के झटके महसूस किए गए। सभी से शांत रहने और सुरक्षा सावधानियों का पालन करने, संभावित झटकों के प्रति सतर्क रहने का आग्रह किया जाता है। अधिकारी स्थिति पर कड़ी नजर रख रहे हैं।
भूकंप के झटके महसूस किये जाने के बाद दहशत में आकर लोग घरों से बाहर निकल आए। भूकंप के झटके इतनी तेज थे कि घरों से बर्तन नीचे गिरने लगे और घरों में जबरदस्त कंपन हुआ। दिल्ली की कार्यवाहक मुख्यमंत्री आतिशी ने भूकंप के झटकों के बाद अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर सलामती की कामना की।
नांगलोई में था भूकंप का केंद्रः इसका केंद्र नई दिल्ली के नांगलोई में धरती की सतह से पांच किलोमीटर की गहराई में और 28.59 डिग्री उत्तरी अक्षांश और 77.16 डिग्री पूर्वी देशांतर में था।
भूकंप के दौरान क्या करेंः
भूकंप के दौरान जितना संभव हो उतना सुरक्षित रहें। इस बात के प्रति सतर्क रहें कि कौन-से भूकंप वास्तव में इसकी पूर्व-चेतावनी देने वाले भूकंप के झटके होते हैं और बाद में बड़ा भूकंप भी आ सकता है। धीरे-धीरे कुछ कदमों तक सीमित हलचल करें जिससे पास में किसी सुरक्षित स्थान पर पहुंच सकें और भूकंप के झटकों के रुकने पर घर में तब तक रहें जब तक कि आपको यह सुनिश्चित हो जाएं कि बाहर निकलना सुरक्षित है।
यदि आप घर के अंदर हों तो क्या करें…
- आप यदि घर के अंदर हों तो जमीन पर झुक जाएं, किसी मजबूत मेज अथवा फर्नीचर के किसी हिस्से के नीचे शरण लें या तब तक मजबूती से पकड़कर बैठे रहें जब तक कि भूकंप के झटके न रुक जाएं। यदि आपके पास कोई मेज या डेस्क न हो तो अपने चेहरे तथा सिर को अपने बाजुओं से ढक लें और बिल्डिंग के किसी कोने में झुक कर बैठ जाएं।
- किसी आंतरिक दरवाजे के लेंटर, किसी कमरे के कोने में, किसी मेज या यहां तक कि किसी पलंग के नीचे रुककर अपने आपको बचाएं।
- सीसे, खिड़कियों, दरवाजों तथा दीवारों से दूर रहें या ऐसी कोई चीज जो गिर सकती हो (जैसे लाइटिंग फिक्सचर्स या फर्नीचर), से दूर रहें।
यदि आप घर के बाहर हों तो क्या करेंः
- यदि आप घर के बाहर हों तो जहां हों वहां से आप न हिलें। इसके साथ ही बिल्डिंग, पेड़ों, स्ट्रीट लाइटों तथा बिजली/टेलीफोन आदि की तारों आदि से दूर रहें।
- यदि आप किसी खुली जगह पर हों तो वहां तब तक रुके रहें जब तक कि भूकंप के झटके न रुक जाएं। सबसे बड़ा खतरा बिल्डिंग के बाहर, निकास द्वारों तथा इसकी बाहरी दीवारों के पास होता है। भूकंप से संबंधित अधिकांश दुर्घटनाएं दीवारों के गिरने, टूटकर गिरने वाले कांच तथा गिरने वाली वस्तुओं के कारण होती हैं।
यदि किसी चलते वाहन में हों तो क्या करें…
- जितनी जल्दी संभव हो सुरक्षा के साथ गाड़ी रोकें तथा गाड़ी में रुके रहें। बिल्डिंग, पेड़ों, ओवरपास, बिजली/टेलीफोन आदि की तारों के पास या नीचे रुकने से बचें।
- सावधानी से भूकंप के रुकने के बाद आगे बढ़ें अथवा सड़कों, पुलों, रैम्प से बचें जो भूकंप द्वारा क्षतिग्रस्त हुए हो सकते हैं।