Deprecated: The PSR-0 `Requests_...` class names in the Requests library are deprecated. Switch to the PSR-4 `WpOrg\Requests\...` class names at your earliest convenience. in /home1/prakhndx/public_html/wp-includes/class-requests.php on line 24
Today History 03 April: उस जांबाज जनरल का हुआ था जन्म, जिसने पाकिस्तान के कर दिए थे दो टुकड़े - Prakhar Prahari
Subscribe for notification
Categories: शिक्षा

Today History 03 April: उस जांबाज जनरल का हुआ था जन्म, जिसने पाकिस्तान के कर दिए थे दो टुकड़े

दिल्लीः आज तीन अप्रैल यानी उस भारतीय नजरल की जयंती है, जो पिता से बगावत कर सेना में शामिल हुआ और पाकिस्तान के दो टुकड़ कर दिए। जी हां हम बात कर रहे हैं  कीसैम होर्मूसजी फ्रेमजी जमशेदजी मानेकशॉ की। भारत के पूर्व सेनाध्यक्ष मानेकशॉ का जन्म 03 अप्रैल, 1914 को और निधन 27 जून, 2008 को हुआ था। फील्ड मार्शल की रैंक पाने वाले वह भारतीय सेना के पहले अधिकारी थे। सन 1971 में उन्हीं के नेतृत्व में भारत-पाकिस्तान युद्ध हुआ। उनका शानदार मिलिट्री करियर ब्रिटिश इंडियन आर्मी से शुरू हुआ और 04 दशकों तक चला जिसके दौरान पांच युद्ध भी हुए। सन 1969 में वह भारतीय सेना के आठवें सेनाध्यक्ष बनाए गए और उनके नेतृत्व में भारत ने सन 1971 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में विजय प्राप्त की जिसके फलस्वरूप एक नए राष्ट्र बांग्लादेश का जन्म हुआ। उनके शानदार करियर के दौरान उन्हें अनेकों सम्मान प्राप्त हुए और सन 1972 में भारत सरकार ने उन्हें पद्म विभूषण से सम्मानित किया।

जब उन्होंने सेना में जाने का फैसला किया तो उनको पिता के विरोध का सामना करना पड़ा। उन्होंने पिता के खिलाफ बगावत कर दी और इंडियन मिलिट्री अकैडमी, देहरादून में दाखिले के लिए प्रवेश परीक्षा दी। वह 1932 में पहले 40 कैडेट्स वाले बैच में शामिल हुए।उनके ही नेतृत्व में भारत ने 1971 के युद्ध में पाकिस्तान को हराया और पाकिस्तान के 90000 सैनिकों को बंदी बनाया जो एक ऐतिहासिक रिकॉर्ड है।

1971 के युद्ध के दौरान जब इंदिरा गांधी ने उनसे भारतीय सेना की तैयारी के बारे में पूछा तो उन्होंने जवाब दिया, मैं हमेशा तैयार हूं-स्वीटी। उनको 1942 के दौरान बर्मा में जापान से लड़ते हुए सात गोलियां लगी थीं, फिर भी वह जिंदा रहे। जब हॉस्पिटल में सर्जन ने उनसे पूछा कि उनको क्या हुआ था तो मानेकशॉ ने जवाब दिया, ‘मुझे खच्चर ने लात मार दिया था।’

मानेकशॉ से पूछा गया कि अगर बंटवारे के समय वह पाकिस्तान चले गए होते तो 1971 के युद्ध में क्या होता। उन्होंने जवाब दिया, ‘मेरे ख्याल से पाकिस्तान जीत गया होता।’ मिजोरम में एक बटालियन उग्रवादियों से लड़ाई में हिचक रही थी और लड़ाई को टालने की कोशिश कर रही थी। इसके बारे में जब मानेकशॉ को पता चला तो उन्होंने चूड़ियों का एक पार्सल बटालियन के कमांडिंग ऑफिसर को एक नोट के साथ भेजा। नोट में लिखा था, ‘अगर आप दुश्मन से लड़ना नहीं चाहते हैं तो अपने जवानों को ये चूड़ियां पहनने को दे दें।’ जब बटालियन ने ऑप्रेशन को सफलतापूर्वक अंजाम दे दिया तो उन्होंने चूड़ियां वापस भेज देने को कहा।

जनरल मानेकशॉ हकीकत कहने से कभी घबराते नहीं थे। जब इंदिरा गांधी ने असमय पूर्वी पाकिस्तान पर हमले के लिए कहा तो उन्होंने जवाब दिया कि इस स्थिति में हार तय है। इससे इंदिरा गांधी को गुस्सा आ गया। उनके गुस्से की परवाह किए बगैर मानेकशॉ ने कहा, ‘प्रधानमंत्री, क्या आप चाहती हैं कि आपके मुंह खोलने से पहले मैं कोई बहाना बनाकर अपना इस्तीफा सौंप दूं।’ भारत-पाक के बंटवारे से पहले वह और याह्या खान (1971 युद्ध के दौरान पाकिस्तान के राष्ट्रपति) सेना में एक साथ सेवा दे रहे थे। मानेकशॉ ने अपनी बाइक याह्या को बेची थी जिसका पैसा याह्या ने चुकाया नहीं था। बाद में जब 1971 के युद्ध में पाकिस्तान को हरा दिया और बांग्लादेश अस्तित्व में आ गया तो मानेकशॉ ने कहा, ‘याह्या ने मेरी बाइक का 1,000 रुपये मुझे कभी नहीं दिया लेकिन अब उसने आधा देश दे दिया है।’

इंदिरा गांधी उस समय देश की प्रधानमंत्री थीं जब सेना द्वारा तख्तापलट की अफवाह फैली। इंदिरा गांधी ने इस बारे में सैम मानेकशॉ से पूछा। इस पर उन्होंने अपने बोल्ड अंदाज में ही जवाब दिया, ‘आप अपने काम पर ध्यान दो और मैं अपने काम पर ध्यान देता हूं। राजनीति में मैं उस समय तक कोई हस्तक्षेप नहीं करूंगा, जब तक कोई मेरे मामले में हस्तक्षेप नहीं करेगा।’ सेना की गोरखा रेजिमेंट पर उनका कितना भरोसा था, यह उनके एक बयान से पता चलता है। एक बार उन्होंने गोरखा रेजिमेंट की तारीफ करते हुए कहा, अगर आपसे कोई कहता है कि वह मौत से नहीं डरता है तो वह या तो झूठा है या फिर गोरखा। आइए एक नजर डालते हैं देश और दुनिया में 03 अप्रैल को घटित हुईं महत्वपूर्ण घटनाओं पर…

1325 : चिश्ती सम्प्रदाय के चौथे संत निज़ामुद्दीन औलिया का निधन।
1680 : मराठा साम्राज्य के संस्थापक शिवाजी का निधन।
1834 : स्वतंत्रता के ग्रीक युद्ध में जनरलों ने देशद्रोह पर मुकदमा शुरू किया।
1885 : गॉटलिब डेमलर को अपने इंजन डिजाइन के लिए जर्मन पेटेंट दिया गया।
1914 : भारत के पहले फील्ड मार्शल एस.एच.एफ.जे. मानेकशॉ का जन्म।
1918 : प्रसिद्ध उक्रेनी लेखक तथा उपन्यासकार ओलेस गोनचार का जन्म।
1922 : जोसेफ स्टालिन को सोवियत संघ की कम्युनिस्ट पार्टी का पहला महासचिव घोषित किया।
1929 : साहित्यकार निर्मल वर्मा का जन्म ।
1931 : साहित्यकार मन्नू भंडारी का जन्म।
1955 : गायक हरिहरन का जन्म।
1958 : बॉलीवुड अभिनेत्री जया प्रदा का जन्म।
1968 : मार्टिन लूथर किंग जूनियर ने अपने आई टू बीन टू दी माउंटिनेट भाषण दिया।
1975 : बॉबी फिशर ने अनातोली कार्पोव के खिलाफ शतरंज मैच में खेलने से इनकार के बाद कर्पोव को विश्व चैंपियन का खिताब डिफ़ॉल्ट रूप से दिया गया।
1981 : एडम ओसबोर्न द्वारा तैयार पहले पोर्टेबल कंप्यूटर का नमूना पेश किया गया।
1999 : भारत ने पहला वैश्विक दूरसंचार उपग्रह इनसैट 1 ई का प्रक्षेपण किया।
2007 : नयी दिल्ली में 14वां सार्क सम्मेलन शुरू।
2009 : जिवरली एंटरर्स वोंग ने बिंगहैटन, न्यूयॉर्क में अमेरिकन सिविक एसोसिएशन के आव्रजन केंद्र पर गोलीबारी की, जिसमें आत्महत्या करने से पहले तेरह लोग मारे गए और चार घायल हुए।
2010 : एप्पल ने पहली पीढ़ी के आईपैड और एक टैबलेट कंप्यूटर को लॉन्च किया।
2010 : भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के छह संस्थापक सदस्यों में से एक अनंत लागू का निधन।
2013 : अर्जेंटीना के ला प्लाटा और ब्यूनस आयर्स में रिकार्ड तोड़ने वाली बारिश के कारण बाढ़ में 50 से अधिक लोग मारे गए।
2017 : सेंट पीटर्सबर्ग मेट्रो सिस्टम में एक बम विस्फोट हुआ, जिसमें 14 लोग मारे गए और कई अन्य लोगों घायल हुए।

Shobha Ojha

Recent Posts

गाजा पहुंचे नेतन्याहू, इजरायल-हमास जंग के बीच सैन्य ठिकानों का दौरा किया

दिल्लीः इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने इजरायल और हमास के बीच जारी जंग के दौरान पहली बार गाजा का…

3 days ago

इमोशनल टेंशन से टूटा रहमान का रिश्ता, 29 साल बाद पत्नी सायरा से अलग हुए, लिखा- उम्मीद थी 30 साल पूरे कर लेंगे

मुंबईः बॉलीवुड के महान संगीतकार एवं ऑस्कर पुरस्कार विजेता एआर रहमान (57) करीब तीन दशक बाद अपनी पत्नी सायरा बानू…

3 days ago

भारत-चीन के बीस सीधी उड़ान शुरू करने पर चर्चा, मानसरोवर यात्रा फिर शुरू करने पर भी G20 में बातचीत

दिल्लीः पांच साल बाद भारत और चीन के बीच सीमा विवाद के मुद्दे पर विशेष प्रतिनिधियों की बैठक बुलाने पर…

4 days ago

21 से 24 नवंबर तक भाग्यनगर में लोकमंथन का आयोजन, राष्ट्रपति मुर्मू 22 को करेंगी उद्घाटन

संवाददाताः संतोष कुमार दुबे दिल्लीः भाग्यनगर के नाम से प्रसिद्ध तेलंगाना के हैदराबाद में 21 नवंबर से वैश्विक सांस्कृतिक महोत्सव…

4 days ago