रांचीः झारखंड के दुमका की अंकिता हत्याकांड के मुख्य आरोपी शाहरुख के सहयोगी नईम की गिरफ्तारी के बाद अब कई खुलासे हो रहे हैं। पुराना दुमका की रहने वाली एक नाबालिग बुधवार को मीडिया के सामने आई और बताया कि नईम उस पर धर्म बदलकर निकाह करने का दबाव बना रहा था। लड़की ने बताया कि मना करने पर अपने दुबई वाले भाई को बेचने की धमकी देता था।
पीड़िता ने बताया कि ‘घटना पिछले साल की है। वह कोचिंग जाना-आना करती थी। उस समय नईम ना सिर्फ उसके साथ छेड़खानी किया करता था, बल्कि उसकी बात नहीं मानने पर पूरे परिवार को बर्बाद करने की धमकी देता था। फोन नंबर मांगता था।’
पीड़िता ने बताया, ‘एक दिन मैं घर के सामने गली में खड़ी थी, तब नईम ने मुझे अगवा कर लिया। एक कमरे में बंद कर दिया। बाद में परिजनों की शिकायत पर दुमका पुलिस ने मुझे छुड़ाया। पोक्सो एक्ट के तहत नईम जेल भेजा गया था, लेकिन जब वह जमानत पर छूटा तो मेरे परिवार को केस उठा लेने की धमकी देने लगा। इस बीच, अंकिता को जलाकर मार देने की घटना सामने आई। इसमें भी नईम शामिल है, यह सुनने के बाद मेरा परिवार खौफ में है।
नईम ने उसी मोहल्ले की एक केवट परिवार की शादीशुदा महिला को भी अगवा कर लिया था। लगभग तीन महीने तक उसे साथ रखा। बाद में महिला के परिजनों ने पुलिस की मदद ली तब जाकर उस महिला को छुड़ाया जा सका।
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक अंकिता हत्याकांड में नईम की भूमिका भी महत्वपूर्ण रही है। उसी ने शाहरुख को ऐसा करने के लिए उकसाया। घटना की रात उसने खुद 60 रुपए का पेट्रोल खरीदकर शाहरुख को दिया था।
दुमका पुलिस ने अंकिता की मौत के बाद पोक्सो एक्ट की धाराएं जोड़ी हैं। इससे पहले पुलिस ने अंकिता की उम्र 19 साल बताई गई थी। जिसे अब सुधार कर 15 साल किया गया है। इसके बाद पोक्सो एक्ट की धाराएं लगाई गई हैं।
आपतो बता दें की दुमका की नाबालिग बेटी अंकिता को दरिंदों ने कुछ ऐसे जलाया कि उसके शरीर में पूरा मवाद (पस) भर गया था। यह बात उसकी पोस्टमार्टम रिपोर्ट में निकल कर सामने आई है। रिपोर्ट में यह भी लिखा है कि अत्यधिक ज्वलनशील पदार्थ से उसे जलाया गया था और इस वजह से शरीर के ऊपर की हर परत में मवाद भर गया था।
यही वजह रही कि लगभग 40% जलने के बाद भी उसके शरीर के अंगों ने धीरे-धीरे काम करना बंद कर दिया था। फिर भी मन से मजबूत अंकिता ने अपने शरीर के घावों के आगे सरेंडर कर दिया और दम तोड़ दिया।
23 अगस्त को अंकिता दुमका के जरुवाडीह मोहल्ले में अपने घर में सोई हुई थी। तभी लगभग 5 बजे पड़ोस के शाहरुख हुसैन ने खिड़की से पेट्रोल डालकर आग लगा दी थी। पांच दिन इलाज के बाद उसने दम तोड़ दिया था।
अंकिता सिंह तीन भाई-बहनों में मंझली थी। बड़ी बहन की शादी हो चुकी है, जबकि 12 साल का छोटा भाई फिलहाल पढ़ रहा है। अंकिता आईपीएस (IPS) बनना चाहती थी। उसके परिवार की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं है। पिता एक बिस्किट कंपनी में सेल्समैन का काम करते हैं। परिवार में दादा-दादी हैं। उसकी मां की मौत पिछले साल हो चुकी है।
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