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आज का इतिहासः आज के ही दिन 1961 में पहली बार इंसान ने अंतरिक्ष में कदम रखा था, हिटलर की नाजी सेना के कारण झोपड़ी में रहने के मजबूर हुए यूरी गागरिन बने थे पहले यात्री - Prakhar Prahari
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आज का इतिहासः आज के ही दिन 1961 में पहली बार इंसान ने अंतरिक्ष में कदम रखा था, हिटलर की नाजी सेना के कारण झोपड़ी में रहने के मजबूर हुए यूरी गागरिन बने थे पहले यात्री

दिल्लीः 12 अप्रैल को वैसे तो कई महत्वपूर्ण घटनाएं घटित हुई हैं, लेकिन जिन दो घटनाओं ने इस को विशेष बना दिया, उसमें सफदर हाशमी का जन्म और यूरी गागरिन का अंतरिक्ष में कदम रखना शामिल है।

आम तौर पर थियेटर और नाटक का नाम सुनते ही दिमाग में दर्शकों से भरे ऑडिटोरियम, स्टेज, लाइट्स और कलाकारों की एक बड़ी सी टीम घूमने लगती है, लेकिन आज ही के दिन 1954 में पैदा हुए सफदर हाशमी ने थियेटर और नाटक का स्वरूप ही बदल दिया। पैसों की कमी की वजह से सफदर ने नुक्कड़ नाटक करने की ठानी। सत्ता के दमन के खिलाफ लिखा हुआ नाटक और कुछ मंझे हुए कलाकारों के साथ मिलकर सफदर ने गली-मोहल्लों को ही अपना स्टेज बना लिया।

दिल्ली के सेंट स्टीफेंस कॉलेज से उन्होंने अंग्रेजी में ग्रेजुएशन किया और फिर दिल्ली यूनिवर्सिटी से अंग्रेजी में ही एमए किया। 1973 में ‘जनम’ यानी जन नाट्य मंच की नींव रखी। सफदर ने अपने जीवन में 24 नुक्कड़ नाटकों का 4000 से भी ज्यादा बार मंचन किया। वे मजदूरों की बस्तियों और फैक्ट्रियों के आसपास अपने नुक्कड़ नाटक दिखाते थे।

1 जनवरी 1989 को जब वे दिल्ली से सटे साहिबाबाद के झंडापुर गांव में अपने नुक्कड़ नाटक ‘हल्ला बोल’ का प्रदर्शन कर रहे थे, तब उनके नाटक दल पर हमला हुआ। सफदर को काफी गंभीर चोटें आईं। 2 जनवरी को सुबह करीब 10 बजे सफदर हाशमी ने इस दुनिया को अलविदा कह दिया।
नाटक के मंचन के दौरान ही सफदर पर हमला होने की वजह से नाटक अधूरा रह गया। सफदर की पत्नी मौलीश्री हाशमी ने उसे पूरा करने की ठानी। 2 दिन बाद ठीक उसी जगह पर मौलीश्री ने ‘हल्ला बोल’ नाटक का मंचन पूरा किया।

अब बात करते हैं यूरी गागरिन साल 12 अप्रैल को 1961 को मॉस्को के समय के अनुसार सुबह के 9:37 बजे पूरा सोवियत संघ सांस थामे एकटक आसमान की ओर देख रहा था। जैसे ही वोस्टॉक-1 एयरक्राफ्ट को लॉन्च किया गया, सभी की खुशियों का ठिकाना नहीं रहा क्योंकि इस क्षण जो हुआ, वह इतिहास में इससे पहले कभी नहीं हुआ था। पहली बार किसी इंसान ने अंतरिक्ष में कदम रखा। इसके साथ ही यूरी गागरिन का नाम भी इतिहास में दर्ज हो गया। यूरी 108 मिनट बाद धरती पर वापस लौटे। पूरी दुनिया ने उनका स्वागत एक हीरो की तरह किया।

1934 में रूस के क्लूशीनो गांव में जन्मे यूरी एलेक्सेविच गागरिन एक बढ़ई के बेटे थे। जब वह 6 साल के थे, तब दूसरे विश्व युद्ध के दौरान उनके घर पर एक नाजी अधिकारी ने कब्जा कर लिया। इसके बाद उनके पूरे परिवार को दो साल तक झोपड़ी में रहना पड़ा। नाजियों ने उनकी 2 बहनों को बंधुआ मजदूर बनाकर जर्मनी भेज दिया।

वह जब 16 वर्ष के हुए तो मॉस्को चले गए। वहां उन्हें सरातोव के एक टेक्निकल स्कूल में जाने का मौका मिला। वहां उन्होंने एक फ्लाइंग स्कूल को ज्वॉइन कर लिया। यहीं से उनके मन में प्लेन में बैठकर आसमान छूने का सपना पलने लगा। 1955 में उन्होंने पहली बार अकेले विमान उड़ाया। 1957 में ग्रेजुएशन पूरा कर यूरी एक फाइटर पायलट बन गए थे।

1957 में ही सोवियत संघ ने पहले सेटेलाइट स्पूतनिक-1 को अंतरिक्ष में स्थापित किया था। इसके बाद तय किया गया कि अब इंसान को अंतरिक्ष में भेजा जाए। इसके लिए पूरे देश से आवेदन मंगवाए गए। हजारों लोगों की कड़ी मानसिक और शारीरिक परीक्षा ली गई। आखिरकार 19 लोगों का चयन हुआ। यूरी गागरिन भी इनमें से एक थे।

अंतरिक्ष से लौटने के बाद गागरिन दूसरे अंतरिक्ष यात्रियों को ट्रेनिंग देने लगे। 27 मार्च 1968 को ऐसे ही एक ट्रेनिंग सत्र के दौरान उनका मिग-15 जहाज हादसे का शिकार हो गया। हादसे में यूरी गागरिन और साथी पायलट की मौके पर ही मौत हो गई। उन्हें सम्मान देने के लिए 1968 में उनके होम टाउन का नाम बदलकर ‘गागरिन’ रख दिया गया। आइए एक नजर डालते हैं देश और दुनिया में 12 अप्रैल को घटित हुईं महत्वपूर्ण घटनाओं परः

1621: सिख गुरु तेग बहादुर का जन्म।
1801: विलियम कैरी को फोर्ट विलियम कॉलेज आफ कलकत्ता में बांग्ला भाषा का प्रोफेसर नियुक्त किया गया।
1861: अमेरिका में गृह युद्ध की शुरुआत। दक्षिण के ग्यारह राज्यों ने जैफ़रसन डेविस के नेतृत्व में अमरीका से अलग परिसंघ बनाने की घोषणा के साथ आज़ादी की लड़ाई छेड़ दी।
1885: मोहनजोदड़ो की खोज करने वाले प्रसिद्ध इतिहासकार राखलदास बनर्जी का जन्म।
1917: भारत के महान क्रिकेट खिलाड़ियों में से एक वीनू मांकड़ का जन्म।
1927: ब्रिटिश कैबिनेट ने महिलाओं को वोटिंग अधिकार देने का समर्थन किया।
1943: बीजेपी नेता और 16वीं लोकसभा की अध्यक्ष सुमित्रा महाजन का जन्म।
1945: अमेरिका के राष्ट्रपति फ्रेंकलिन रूजवेल्ट का रहस्यमय परिस्थितियों में निधन।
1946: सीरिया पर फ्रांस का कब्जा समाप्त हुआ।
1955: डाक्टर जोनास साल्क ने पोलियो की दवा ईजाद करने का ऐलान किया।
1961: सोवियत संघ ने अंतरिक्ष में अपना वर्चस्व कायम करते हुए यूरी गैगरीन को अंतरिक्ष में भेजा। वह अंतरिक्ष की यात्रा करने वाले पहले मानव थे। मेजर यूरी ने बैंकनूर अंतरिक्ष केंद्र से वोस्टॉक नामक अंतरिक्ष यान से उड़ान भरी। उस वक्त उनकी उम्र 27 साल थी।
1973: सूडान ने अपना संविधान बनाया।
1975: अमेरिका ने कंबोडिया में अपनी हार स्वीकार कर ली। कंबोडिया के गृह युद्ध में पांच साल तक हस्तक्षेप करने के बाद अमेरिका ने अपने आपको लड़ाई से अलग कर लिया।
1978 भारत की पहली डबल डेकर रेलगाड़ी बम्बई (अब मुंबई) के विक्टोरिया टर्मिनल से पुणे के लिए अपनी पहली यात्रा पर रवाना हुई थी।
1981: अंतरिक्ष यान कोलंबिया पहली बार अंतरिक्ष में भेजा गया।
1981: अमेरिकी कांग्रेस में पहली हिंदू अमेरिकी सांसद तुलसी गबार्ड का जन्म।
1998: गिरिजा प्रसाद कोइराला नेपाल के प्रधानमंत्री बने।
2007: पाकिस्तान ने ईरान गैस पाइपलाइन पर भारत को मंजूरी दी।
2010: भारतीय कबड्डी टीम ने पाकिस्तान की टीम को 58-24 से हराकर पहला कबड्डी विश्व कप जीता।
2013: फ्रांस की सीनेट ने समलैंगिक विवाह को मान्यता दी।
2014: मशहूर गीतकार गुलजार को दादासाहेब फालके पुरस्कार दिया गया।

Shobha Ojha

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