Old compass on vintage map with rope closeup. Retro stale

दिल्लीः आज के ही दिन 1932 में रामकृष्ण मिशन सेवा प्रतिष्ठान की स्थापना हुई थी। आइए एक नजर डालते हैं देश और दुनिया में 24 जुलाई को घटित हुईं महत्वपूर्ण घटनाओं परः-

1758 : अमेरिका के तत्कालीन राष्ट्रपति जॉर्ज वॉशिंगटन उत्तरी अमेरिका की पहली असेंबली वर्जीनिया हाउस ऑफ बर्जेसेज में शामिल हुए।
1783 : जॉर्जिया को रूस का संरक्षक बनाया गया।
1793: फ्रांस ने कॉपीराइट कानून बनाया।
1823 : चिली में दास प्रथा को हमेशा के लिए समाप्त कर दिया गया।
1834 : पुर्तगाल में लिबरल युद्ध समाप्त हुआ।
1870 : अमेरिका में पहली अंतरदेशीय रेल सेवा की शुरुआत।
1890:  सोवा बाजार क्लब ने पहली बार किसी इंग्लिश फुटबाल टीम (ईस्ट सरे) के खिलाफ जीत दर्ज की।
1910 : ओटोमन बलों ने ऑलबानियन विद्रोह को शांत करने के लिए शकोदर शहर पर कब्जा कर लिया।
1911: हैरम बेहन द्वारा माया सभ्यता के लुप्त शहर माचुपिच्चु को खोज निकाला गया।
1915 : सेंट्रल शिकागो में एक स्टीमर ईस्टलैंड की वजह से 844 लोगों की जान गयी।
1923: लौसन की संधि। स्विट्जरलैंड में ग्रीस, बुल्गारिया और प्रथम विश्व युद्ध में शामिल अन्य देशों के बीच हुई इस संधि के द्वारा आधुनिक तुर्की की सीमाओं को व्यवस्थित किया गया।
1929 : फ्रांसीसी प्रधानमंत्री रेमंड पोंकारे ने इस्तीफा देने के बाद अरिस्तैड ब्रेंड को इसका उत्तराधिकारी बनाया गया।
1932 :रामकृष्ण मिशन सेवा प्रतिष्ठान की स्थापना की गई।
1938: इंस्टेंट काफी की खोज हुई।
1941 :उत्तर यूरोपीय देश लिथुनिया में यहूदी आबादी की नाजियों ने हत्या की।
1969 :अपोलो 11 अंतरिक्ष यान पृथ्वी पर लौटा।
1982 :जापान के नागासाकी में भारी बारिश के कारण पुल ढहने से 299 लोगों की मौत।
1999: अमेरिकी अंतरिक्ष यान कोलंबिया का सफल प्रक्षेपण हुआ।
2000 :एस. विजयलक्ष्मी शतरंज की पहली महिला ग्रैंडमास्टर बनीं।
2005: कोरियाई क्षेत्र को परमाणु हथियारों से मुक्त करने हेतु उत्तर और दक्षिण कोरिया के बीच आम सहमति बनी।
2008: फ़्रांस के ट्रिकेस्टिन परमाणु संयंत्र में हुए रिसाव से लगभग 100 व्यक्ति प्रभावित हुए।
2012: मिस्र के राष्ट्रपति मोहम्मद मोर्सी ने हिशम क़ंदिल को प्रधान मंत्री नियुक्त किया और उन्हें एक नई सरकार बनाने के लिए कहा।
2013: सुपर हेडिमेट्री के वैज्ञानिक सिद्धांत को लार्ज हैड्रोन कोलाइडर के साथ प्रयोगों के बाद चुनौती दी गई।
2014: यूक्रेन के प्रधानमंत्री आर्सेनी यात्सेनियुक ने ऊर्जा जरूरतों और सैन्य धन को संबोधित करने के लिए संसद की निष्क्रियता पर निराशा व्यक्त करते हुये इस्तीफा दिया।

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