दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को कोरोना की स्थिति को लेकर महाराष्ट्र, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, ओडिशा और केरल के मुख्यमंत्रियों से बात की। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई इस बैठक के दौरान मोदी ने महाराष्ट्र तथा केरल में संक्रमण के मामलों में वृद्धि पर चिंता जताई और कहा कि हमें टेस्ट, ट्रैक, ट्रीट और टीके पर ध्यान देना होगा। जिन राज्यों में केस बढ़ रहे हैं, उन्हें प्रोएक्टिव मेजर लेते हुए तीसरी लहर की आशंका को रोकना होगा।

पीएम ने विशेषज्ञ शुरुआत में  मान रहे थे कि जहां से सेकंड वेव की शुरुआत हुई थी, वहां स्थिति पहले नियंत्रण में होगी, लेकिन महाराष्ट्र और केरल में इसके मामलों में  इजाफा देखने को मिल रहा है। ये वाकई हम सबके लिए, देश के लिए एक गंभीर चिंता का विषय है।

उन्होंने कहा, “एक्सपर्ट्स बताते हैं कि लंबे समय तक केस बढ़ने से कोरोना के वायरस में म्यूटेशन की आशंका बढ़ जाती है। नए वायरस का खतरा बढ़ जाता है। इसलिए तीसरी लहर को रोकने के लिए कदम उठाने जरूरी हैं। इस दिशा में वही करना है, जो पहले राज्य कर चुके हैं। टेस्टेड एंड प्रूवन मेथर्ड है।”

इस दौरान मोदी ने मुख्यमंत्रियों को माइक्रो कंटेनमेंट जोन पर तेजी से काम करने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि जहां केस ज्यादा आ रहे हैं, वहां निगरानी भी ज्यादा होनी चाहिए। जब मैं नॉर्थ ईस्ट के मुख्यमंत्रियों से बात कर रहा था, तो पता चला कि कुछ राज्यों ने लॉकडाउन ही नहीं किया। साथ ही माइक्रो कंटेनमेंट जोन पर ध्यान दिया गया।

पीएम ने कहा कि देश के सभी राज्यों में नए आईसीयू बेड बनाने, टेस्टिंग क्षमता बढ़ाने और दूसरी सभी जरूरतों के लिए फंड उपलब्ध कराया जा रहा है। केंद्र सरकार ने हाल ही में 23 हजार करोड़ से ज्यादा का इमरजेंसी कोविड फंड जारी किया है। इसका उपयोग हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने के लिए किया जाना चाहिए। विशेष तौर पर ग्रामीण क्षेत्रों में ज्यादा मेहनत करने की जरूरत है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here