ब्रासीलियाः ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोल्सोनारो विवादों में घिर गए हैं। उन पर कोरोना वैक्सीन खरीद में घोटाले के आरोप लगे हैं तथा अब उनके खिलाफ जांच होगी।  स्थानीय मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक बोल्सोनारो पर भारत बायोटेक की कोवैक्सिन की डील में धांधली के आरोप लगे हैं। जी-1 न्यूज वेबसाइट ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि ब्राजील के सुप्रीम फेडरल कोर्ट ने भारत की कोवैक्सिन की खरीद में ज्यादा कीमत चुकाने पर राष्ट्रपति के खिलाफ जांच को मंजूरी दे दी है।

आपको बता दें कि गत सप्ताह एस्टाडो डी साओ पाउलो अखबार ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि ब्राजील की सरकार ने इस वैक्सीन के दो करोड़ खुराक के लिए समझौता किया है। अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक एक डोज की कीमत 15 डॉलर यानी 1,117 रुपये तय की गई है।

जी-1 ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि जस्टिस रोजा वेबर ने अटॉर्नी जनरल ऑफिस की गुजारिश पर सहमति जताते हुए 90 दिनों के लिए जांच के लिए सहमति दे दी है। कथित तौर पर बोल्सनारो को कई महीने पहले इस मामले बारे में बताया गया था। अब जांच में यह पता लगाया जाएगा कि राष्ट्रपति इस बारे में कुछ कर रहे थे या नहीं।उघर ब्राजील की लेफ्टिस्ट और सेंट्रिस्ट पार्टियों ने निचले सदन में बोल्सोनारों के खिलाफ महाभियोग की अपील दायर की है।

हालांकि ब्राजील की सरकार ने कोवैक्सिन के दो करोड़ डोज खरीदने के करार अस्थायी तौर पर रद्द कर दिया है। यह सौदा 32.4 करोड़ डॉलर का है। वहीं दवा निर्माता कंपनी भारत बायोटेक का कहना है कि हमने समझौते, अप्रूवल और सप्लाई के लिए ब्राजील में उन्हीं नियमों का पालन किया, जिनका दूसरे देशों में किया गया है। ब्राजील सरकार ने अब तक कोई एडवांस नहीं दिया है। कंपनी ने दूसरे देशों को सरकारी सप्लाई के लिए कोवैक्सिन की कीमत 1,115-1,487 रुपए प्रति डोज के बीच रखी है।

आपको बता दें ब्राजील अमेरिका और भारत के बाद कोरोना से सबसे प्रभावित तीसरा देश है, जबकि इसके कारण होने वाली मौतों के मामले में दूसरे नंबर पर है। यहां इस संक्रमण से अब तक 1.87 करोड़ से ज्यादा लोग प्रभावित हुए हैं, जबकि 5,23,587 लोगों की मौत हुई।

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