नई दिल्ली .
अदरक न सिर्फ खाने का स्वाद बढ़ाता है बल्कि इसका नियमित सेवन व्यक्ति को कई तरह के संक्रमण से भी दूर रखने में मदद करता है। कोरोनाकाल में इम्यूनिटी को स्ट्रांग बनाए रखने के लिए खाए जाने वाले पौष्टिक भोजन की बात हो या काढ़े की, अदरक का इस्तेमाल दोनों ही चीजों में किया जा रहा है, पर इसका असली होना जरूरी है। असली के नाम पर नकली अदरक की बाजार में भरमार है। नकली अदरक एक प्रकार की पहाड़ी जड़ होती है, जिसकी पहचान कर पाना मुश्किल होता है। ऐसे जानें, असली और नकली अदरक के बीच का फर्क।
-अदरक की बहुत तेज व तीखी खुशबू आती है, जो कि असली अदरक की पहचान होती है। वहीं नकली अदरक में खुशबू नहीं आती है।
-असली अदरक को आप थोड़ा सा चखकर भी देख सकते हैं। इसका स्वाद आपको बता देगा कि यह असली है या नकली।
– असली अदरक में नाखून चुभाने से उसका छिलका तुरंत उतर जाएगा और आपके हाथों में उसकी तीखी खुशबू रह जाएगी।
-अगर अदरक का छिलका बहुत कठोर होता है तो आप उसे खरीदने से बचें क्योंकि वह अदरक नहीं है।
सावधानी भी बरतें
यदि आप मिट्टी लगी हुई अदरक की जगह साफ अदरक खरीदना ज्यादा पसंद करती हैं तो अपनी इस आदत को बदल डालें। यह आपकी सेहत को नुकसान पहुंचाने के लिए एक जाल भी हो सकता है। दरअसल, आजकल दुकानदार अदरक को साफ करने के लिए एक प्रकार के एसिड का प्रयोग करते हैं। ऐसी अदरक एसिड से धुली होने के कारण दिखने में अधिक साफ नजर आती है। लेकिन यह साफ अदरक आपकी सेहत को बड़ा नुकसान भी पहुंचा सकती हैं।