प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर हमला बोले। राज्य में चौथे चरण के मतदान के बीच मोदी ने सिलीगुड़ी चुनावी रैली को संबोधित किया। यहां पर उन्होंने कूचबिहार में हुई हिंसा पर दुख जताया तथा पीड़ित परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की और कहा कि टीएमसी के मंसूबे पूरे नहीं होंगे। जनता इस बार ममता बनर्जी तथा तृणमूल कांग्रेस को सत्ता से बाहर का रास्ता दिखाएगी।

पीएम ने ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा कि दीदी, तृणमूल कांग्रेस और उनके गुंडों के मंसूबे कामयाब नहीं होंगे। उन्होंने आरोप लगाया कि ममता बनर्जी सुरक्षा बलों पर हमले के लिए लोगों को उकसा रही हैं। उन्होंने कहा कि ममता को 10 साल के शासन का हिसाब देना होगा।

उन्होंने कहा कि एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। इस वीडियो को देखकर लोग चौक गए हैं। वीडियो में दीदी के करीबी ने एससी समुदाय का अपमान किया है। वह कह रहे हैं, बंगाल के एसी भिखारियों की तरह व्यवहार करते हैं।

मोदी ने कहा कि बंगाल के संतानों ने साहित्य से लेकर सेना तक सभी को मजबूत किया है। ऐसे ही संतानों की प्रेरणा से बंगाल आशोल परिवर्तन के लिए प्रेरित हुआ है। उन्होंने आरोप लगाया कि दीदी ने जिन्हें दबा रखा था, उन्हें अब आशोल परिवर्तन चाहिए। उन्होंने कहा कि बीजेपी की सरकार में लोगों को न्याय मिलेगा। प्रशासन जनता के लिए काम करेगा। पुलिस जनता को न्याय दिलाएगी। अब तोलाबाज मुक्त, कटमनी मुक्त और सिंडीकेट मुक्त बंगाल बनेगा।

पीएम ने कहा कि दीदी का गुस्सा मुझ पर बढ़ता जा रहा है। उन्हें 10 साल तक गरीबों को सताने वाले गुंडों पर, हत्यारों पर, लुटेरे तोलाबाजों पर गुस्सा नहीं आया, लेकिन उन सुरक्षाबलों पर गुस्सा आ गया, जो बंगाल के लोगों के अधिकार की रक्षा कर रहे हैं। 10 साल तक एक राज्य की मुख्यमंत्री रहने के बाद सिखा रही हैं कि कैसे सुरक्षा बलों का घेराव करना है। कैसे उन पर हमला करना है। देश के बहादुर सुरक्षा बल आतंकियों और नक्सलियों से नहीं डरते, तो क्या वे आपके पाले गुंडों से डर जाएंगे?

उन्होंने कहा कि दीदी ने सिलीगुड़ी में ही दीदी ने कहा था कि उनके तोलाबाज तो सिर्फ 200, 300 या 500 रुपए लेते हैं, इसमें क्या बड़ी बात है। इसके लिए एक कथा मैंने बचपन में सुनी थी। कथा में एक बहुत बड़े लुटेरे को फांसी हुई। अंतिम इच्छा पूछने पर उसने कहा कि मां से मिलना है। सरकार ने कहा कि मां से मिलवाया जाए। मां से मिलने के बाद उसने उन्हें गले लगाया और मां की नाक काट लिया। उससे पूछा गया कि ऐसा तुमने क्यों किया। उसने बताया कि जब मैं छोटी चोरी करता था, उस दिन अगर मेरी मां ने मुऐ रोका होता तो ये नौबत नहीं आती।

उन्होंने कहा कि दीदी आप बंगाल के लोगों की भाग्य विधाता नहीं हैं। बंगाल के लोग आपकी जागीर नहीं हैं। इसलिए बंगाल के लोगों ने तय कर लिया है कि आपको जाना ही होगा। बंगाल की जनता आपको निकाल कर ही दम लेगी। आप अकेली नहीं जाएंगी, आपके पूरे गिरोह को ये जनता हटाकर रहेगी। आपके साथ-साथ ये टोलाबाज भी जाएंगे, सिंडिकेट भी जाएंगे। आपके साथ-साथ नॉर्थ बंगाल के साथ भेदभाव करने वाली नीति भी बाहर जाएगी। साथ ही तुष्टिकरण की राजनीति भी बाहर जाएगी।

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