संवादाता
प्रखर प्रहरी
अंबालाः 22 साल भारत को आज पांच लड़ाकू विमान मिल गये। फ्रांस से सात हजार किलोमीटर की दूरी तय करके पांच राफेल लड़ाकू विमानों ने 29 जुलाई को दोपहर लगभग सवा तीन बजे अंबाला एयरबेस पर लैंड किया। पांचों राफेल एक ही एयरस्ट्रिप पर एक के बाद एक उतरे।

इस मौके पर वायुसेना प्रमुख एयरचीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया समेत वेस्टर्न एयर कमांड के कई अधिकारी यहां पर मौजूद थे। इससे पहले 1997 में भारत को रूस से सुखोई मिले थे।
राफले लड़ाकू विमानों की लैंडिंग के तुरंत बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर कहा कि चिड़िया अंबाला में सुरक्षित उतर गई। भारत की सरजमीं पर राफेल का उतरना सैन्य इतिहास में एक नए युग की शुरुआत है।

पांच विमानों की बैच में सबसे पहले विमान को वायुसेना की 17वीं गोल्डन एरो स्क्वॉड्रन के कमांडिंग ऑफिसर एवं शौर्य चक्र विजेता ग्रुप कैप्टन हरकीरत सिंह ने लैंड करवाया। इसके बाद चार अन्य राफेल विमान लैंड हुए।

इस मौके पर राफेल को लाने वाले पायलटों के परिवार भी मौजूद हैं। लैंडिंग के बाद राफेल को ‘वॉटर सैल्यूट’ दिया गया। लैंडिंग के दौरान एयरफोर्स स्टेशन के आसपास धारा 144 लागू कर दी गई है। तीन किलोमीटर तक ड्रोन कैमरे के इस्तेमाल पर भी पाबंदी लगी हुई है।

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