दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वैश्विक महामारी कोरोना वायरस लड़ने के लिए लोगों का बुद्ध के रास्ते पर चलने का आह्वान किया है और कहा है कि भारत आज प्रत्येक देशवासी के जीवन बचाने के लिए हर संभव प्रयास करने के साथ ही अपने वैश्विक दायित्वों का भी गंभीरता से पालन कर रहा है।
पीएम ने बुद्ध पूर्णिमा के मौके पर सात मई आभासी प्रार्थना सभा मे वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये भाग लेते हुए यह बातें कहीं। यह प्रार्थना सभा कोरोनो से मरने वालों और उससे लड़नेवालों वीरों के सम्मान में आयोजित की गयी थी।  उन्होंने कहा कि बुद्ध भारत के बोध और भारत के आत्मबोध दोनों का प्रतीक हैं। इसी आत्मबोध के साथ देश निरंतर पूरी मानवता के लिए पूरे विश्व के हित में काम कर रहा है और करता रहेगा। उन्होंने कहा कि भारत की प्रगति हमेशा विश्व की प्रगति में सहायक होगी। उन्होंने बुद्ध के सन्देश ‘सुप्प बुद्धं पबुज्झन्ति, सदा गोतम सावकायानि’ का उल्लेख  करते हुए कहा कि जो दिन-रात हर समय मानवता की सेवा में जुटे रहते हैं, वही बुद्ध के सच्चे अनुयायी हैं। इस मुश्किल परिस्थिति में आप अपना एवं अपने परिवार का तथा जिस भी देश में आप हैं, वहां का ध्यान रखें। अपनी रक्षा करें और यथा-संभव दूसरों की भी मदद करें।
संस्कृति मंत्रालय और अंतरराष्ट्रीय बौद्ध महासंघ द्वारा आयोजित इस प्रार्थना सभा में बौद्ध गया लुम्बिनी सारनाथ कुशीनगर के  अलावा श्रीलंका, नेपाल और अन्य देशों के बौद्ध भिक्षुओं ने शिरकत की। इस आभासी  प्रार्थना सभा का लाइव प्रसारण किया गया।

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